Friday, 11 July 2014

इंसान

इंसान

एक था भगवान,
एक था शैतान.....
दोनों में जब झगड़ा हुआ तो,
बहुत हुआ नुकसान....
दोनों ने मिलकर,
निकाला समस्या का समाधान.... एक खिलौना बनाया,
और उसका नाम रखा इंसान....



शैतान ने अपनी ताकते दी,
क्रोध,धंमड और जलन.....
भगवान ने अपने अंश दिये,
प्यार,दया और सम्मान... भगवान से मुस्कराकर बोला शैतान,
न तेरा नुकसान,न मेरा नुकसान......
तू जीते या मैं जीतू,
हारेगा इंसान ...



और इसलिए कहते है... कोई टूटे तो उसे सजाना सीखो,
कोई रुठे तो उसे मनाना सीखो ...
रिश्ते तो मिलते है मुकद्दर से,
बस उन्हे खूबसूरती से निभाना सीखों।

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